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ज़िन्दगी

ज़िन्दगी मुझसे यूँ मौज करा रही है, धोखे से अपने पास बुला रही है, कह क्यूँ नहीं देते तुम उससे, वो मर तो कबकी चुकी है, बस कुछ पल मेरा दिल बहला रही है.  *------------------*--------------------* ज़िन्दगी में एक तालीम ऐसी भी हो कि जीना सिखा दे, क्यूंकि पढ़े लिखे लोग भी अक्सर ज़िन्दगी से हार कर मर जाते हैं